एक नज़्म
ख़ाब और हकीकत में होते है फासले
हर बार कि तरह कहीं फिर खो न जाऊं /
बेदार अदालत में होती है बड़ी जुस्तुजू
लहर-ए-जज़्बात में कहीं फिर खो न जाऊं /
तुम्हारी त़ा'जीम-ओ-ताव्कीर ही ऊपर होगी
मेरे हमराज़ वो राज़ कबके दफ़न हो गये,
तुम यूं ही फिक्र मत किया करो मैं दोस्त था
दुश्मन तो कबके कफ़न दफ़न हो गये /
दिल बहलाने के लिए ख्यालों में रख रखा है
ये ज़िक्र-ए-दिल आहिस्ता-आहिस्ता निकले
आरज़ू आखरी ज़नाजा तेरी गली से गुजरे
नज़्ज़ारा-ए-जमाल हो रूह रफ्ता-रफ्ता निकले
जुस्तुजू : INQUIRY, लहर-ए-जज़्बात : WAVES OF EMOTION,
त़ा'जीम-ओ-ताव्कीर : RESPECT AND HONOR
नज़्ज़ारा-ए-जमाल : SEEING A BEAUTIFUL FACE
ख़ाब और हकीकत में होते है फासले
हर बार कि तरह कहीं फिर खो न जाऊं /
बेदार अदालत में होती है बड़ी जुस्तुजू
लहर-ए-जज़्बात में कहीं फिर खो न जाऊं /
तुम्हारी त़ा'जीम-ओ-ताव्कीर ही ऊपर होगी
मेरे हमराज़ वो राज़ कबके दफ़न हो गये,
तुम यूं ही फिक्र मत किया करो मैं दोस्त था
दुश्मन तो कबके कफ़न दफ़न हो गये /
दिल बहलाने के लिए ख्यालों में रख रखा है
ये ज़िक्र-ए-दिल आहिस्ता-आहिस्ता निकले
आरज़ू आखरी ज़नाजा तेरी गली से गुजरे
नज़्ज़ारा-ए-जमाल हो रूह रफ्ता-रफ्ता निकले
जुस्तुजू : INQUIRY, लहर-ए-जज़्बात : WAVES OF EMOTION,
त़ा'जीम-ओ-ताव्कीर : RESPECT AND HONOR
नज़्ज़ारा-ए-जमाल : SEEING A BEAUTIFUL FACE
17 comments:
@आरज़ू आखरी ज़नाजा तेरी गली से गुजरे
नज़्ज़ारा-ए-जमाल हो रूह रफ्ता-रफ्ता निकले।
आशिक-ए-तमन्ना से रुबरु हुए, यह आशिक की आदिम तमन्ना है।
बेहतरीन नज्म। आभार
thanks lalitji
बेहतरीन और लाजबाब
वाह ! शानदार ! पढकर मजा आ गया|
बहुत खूब !
thanks ratan singhji
thanks rathoreji
thanks chitrkar
आपकी किसी नयी -पुरानी पोस्ट की हल चल बृहस्पतिवार 29 -12 - 2011 को यहाँ भी है
...नयी पुरानी हलचल में आज... जल कर ढहना कहाँ रुका है ?
Behtareen...
www.poeticprakash.com
दिल बहलाने के लिए ख्यालों में रख रखा है
ये ज़िक्र-ए-दिल आहिस्ता-आहिस्ता निकले
बहुत खूब सर!
सादर
वाह ...बहुत बढि़या प्रस्तुति ।
वाह!
बहुत सुन्दर नज़्म.....
BAHUT UMDA GAZEL.
नज़्ज़ारा-ए-जमाल हो रूह रफ्ता-रफ्ता निकले
क्या बात है.... शानदार नज्म...
सादर बधाई..
दिल बहलाने के लिए ख्यालों में रख रखा है
ये ज़िक्र-ए-दिल आहिस्ता-आहिस्ता निकले
आरज़ू आखरी ज़नाजा तेरी गली से गुजरे
नज़्ज़ारा-ए-जमाल हो रूह रफ्ता-रफ्ता निकले
बहुत खूब कसावट लिए हुए, वाह !!!
thanks sangeetaji, prakashji yaswantji, sada, vidyaji,anamikaji, habib sahab, arunji for all your support and compliments.
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